इलोन "बहुत नाकामियों पर आप अपनी नाज़ करते हैं, अभी देखी कहाँ है आपने नाक़ामियाँ मेरी" बग़ैर किसी सबब, बग़ैर किसी मक़्सद, बग़ैर किसी मन्ज़िल... कड़ी धूप और तेज़ तूफ़ान के बीच ज़िंदगी के रास्ते तलाशता हुआ एक आदमी